लॉक डाउन में आशाओं के जज्बे को सलाम। @राम दयाल खोत जोधपुर/भोपालगढ़। कोरोना वायरस जैसी महामारी को लेकर देशव्यापी लॉकडाउन के ब...
@राम दयाल खोत
जोधपुर/भोपालगढ़। कोरोना वायरस जैसी महामारी को लेकर देशव्यापी लॉकडाउन के बीच आशा सहयोगिनी का प्रो-एक्टिव रोल नजर आ रहा है। प्रशासन अग्रिम तैयारियां कर रहा है तो महिला कार्मिक भी लॉकडाउन का पालन कराने के लिए मुस्तैद है। इन दिनों क्षेत्र के गांवो में सबसे ज्यादा जिन की चर्चा हो रही है। उनमें शेखनगर की आशा सहयोगिनी सलमा, मंगेरिया में गोमी कुड़िया, कमला साद, भोपालगढ में सेठु गोदारा कर्मचारी शामिल हैं। यह महिलाए गांव के घर-घर जाकर उनको कोरोना वायरस से बचाव के उपाय बता रही है। साथ ही सर्वे करके लोगो की जानकारी भी विभाग को उपलब्ध करवा रही है। मुख्य ब्लॉक चिकित्सा प्रभारी अधिकारी डॉक्टर दिलीप चौधरी की ओर से क्षेत्र के घरों में डोर टू डोर सर्वे में इन कर्मचारियों को लगाया था। प्रशासनिक अधिकारियों व कर्मचारियों के साथ इन महिला विभाग के कार्मिकों ने भी बखूबी लगातार अपनी सेवाएं देते हुए, आमजन को लॉक डाउन की पालना करवाने में भी अहम भूमिका निभाई है। यह महिला कार्मिक अपने छोटे-छोटे बच्चों को घर पर छोड़ कर लगातार मुस्तैदी से ड्यूटी कर रही है। वही अपनी ड्यूटी के बाद घर आकर महिला कार्मिक घरेलू कार्य करने के साथ ही प्रतिदिन शाम को 2 घंटे अपने घर के सूती कपड़े से मास्क बना कर जरूरतमंद ग्रामीणों को वितरण कर रही है। यह आशा सहयोगिने लगातार 40 दिन से घर-घर जाकर बाहर से आने वाले लोगों के चिकित्सा विभाग की टीम के साथ स्कैनिंग का कार्य भी करवा रही है। इसके साथ ही जरूरतमंद परिवारों को राहत सामग्री प्रदान कर रही है।
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